किसी भी बच्चे या बड़े को दानों के साथ बुखार आए तो मीजल्स रुबेला हो सकता है, तुरंत रिपोर्ट करें

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सीएमएचओ कार्यालय में हुई कार्यशाला में मौजूद चिकित्सा अधिकारी।

झुंझुनूं। किसी भी बच्चें और बड़ों को दाने के साथ बुखार आए तो तुरंत नजदीकी चिकित्सक को दिखाए यह मीजल्स रुबेला हो सकता है। आरसीएचओ डॉ. दयानंद सिंह ने बताया कि दानों के साथ बुखार आने वाले केस की तुरंत हमे रिपोर्ट करते हुए जांच करवाएं और इसका लागातार फॉलोअप कराएं। भारत सरकार एवं राजस्थान सरकार के संयुक्त तत्वावधान में संचालित मीजल्स रुबेला उन्मूलन अभियान के सफल क्रियान्वयन को लेकर शुक्रवार को जिला स्तरीय कार्यशाला का आयोजन किया गया। कार्यशाला में डब्ल्यूएचओ के एसएमओ डॉ. अंकुर सांगवान ने सभी सीएचसी प्रभारियों को बताया कि बच्चों को 9 माह पर एमआर फर्स्ट 16 माह पर एमआर सैकंड डोज लगवानी होती है।

उन्होंने अभियान की जानकारी देते हुए कहा कि हमें पल्स पोलियो अभियान की तरह एम आर अभियान को क्रियान्वित कर मीजल्स रुबेला का उन्मूलन करना है। इसके लिए दोनों डोज की 95 प्रतिशत कवरेज करनी है। जिससे मिजल्स रूबेला का उन्मूलन करना है। उन्होंने कहा कि इस अभियान को पल्स पोलियो अभियान की तरह लेकर सफल बनाना है। इस अवसर पर सीएमएचओ डॉ. छोटेलाल गुर्जर, आरसीएचओ डॉ. दयानंद सिंह, डिप्टी सीएमएचओ डॉ. भंवरलाल सर्वा ने कहा कि यह अभियान तभी सफल होगा, जब हम सभी मिल कर अपना पूर्ण योगदान देंगे। साथ ही इसे मुहिम के रूप में लेकर काम करेंगे। इस दौरान जिलेभर से आए सभी सीएचसी प्रभारी सहित उनके प्रतिनिधि मौजूद रहे।

पल्स पोलियों 23 को, जिला स्तरीय ट्रेनिग संपन्न
पल्स पोलियो अभियान 23 को आयोजित किया जाएगा। इसके लिए जिला स्तरीय प्रशिक्षण कार्यशाला का आयोजन शुक्रवार को किया गया। कार्यशाला में विश्व स्वास्थ्य संगठन सीकर के एसएमओ डॉ. अंकुर सांगवान ने सीएचसी प्रभारियों को सत्र आयोजन के लिए प्रशिक्षण दिया। आरसीएचओ डॉ. दयानंद सिंह ने बताया कि 23 जून को आयोजित होने वाले सत्र के लिए तैयारियां की जा रही है। माइक्रो प्लान तैयार किए जा रहे हैं। जिला स्तर के बाद ब्लॉक स्तर पर प्रशिक्षण दिया जाएगा।

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