सूरजगढ़। चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग की खाद्य सुरक्षा टीम ने कस्बे में दो मिठाई की दुकानों पर बड़ी कार्रवाई करते हुए सात मिठाइयों के अलावा मिठाई बनाने के काम लिए जाने वाले घी तथा मावे का सैंपल लिया है। वहीं खराब मिठाइयों को नष्ट करवाया है। जो खाने के लायक नहीं थी। फिर भी मिठाई व्यापारी इन मिठाइयों को बेचने की तैयारी में थी। खाद्य सुरक्षा अधिकारी महेंद्र सिंह तथा लालूराम यादव की संयुक्त टीम ने कस्बे की अंजनी स्वीट्स पर सैंपल की कार्रवाई की। यहां पर टीम ने मिठाई बनाने के काम लिए जाने वाले घी के अलावा लड्डू, कलाकंद, पेड़े, रसगुल्ला व काजू कतली समेत कुल छह मिठाई का सैंपल लिया। वहीं दुकान पर टीम को खराब तेल भी मिला। जो उपयोग में लेने योग्य नहीं था। इसलिए इस तेल को टीम ने मौके पर ही नष्ट करवा दिया।
इधर, कस्बे में ही स्थित गिरीराज स्वीट्स पर भी टीम ने कार्रवाई की। यहां पर हालात और भी अधिक खराब मिले। इस दुकान पर बड़ी मात्रा में ऐसी मिठाई मिली। जो खाने के योग्य नहीं थी। जिन्हें नष्ट करवाया गया। इसके अलावा इस दुकान से एक मावे का तथा एक मिल्क केक का सैंपल लिया गया। एफएसओ महेंद्र सिंह ने बताया कि नरहड़ में भी एक दुकान से दो सैंपल लिए गए है। नरहड़ में न्याय मित्र केके गुप्ता के निर्देशों पर नियमित सैंपलिंग चल रही है। वहीं दुकानदारों से खाद्य सामग्री को ढककर रखने के लिए समझाइश की जा रही है।
काफी दिनों से हो रही थी शिकायतें

जानकारी में सामने आया है कि उपरोक्त दोनों मिठाई व्यापारियों की शिकायतें काफी दिनों से चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग में हो रही थी। क्योंकि काफी लोगों ने खराब मिठाई बेचने की शिकायतें की थी। जिसके बाद ही यह कार्रवाई की गई है। हालांकि एफएसओ ने इस बारे में कोई पुष्टि नहीं की है। लेकिन क्षेत्र में यह चर्चा जोरों पर है कि ये व्यापारी अपने रसूख के चलते अब तक सैंपलिंग से बचते रहे है।
जांच के लिए जयपुर भेजे जाएंगे सैंपल

सूरजगढ़ की दो दुकानों से लिए गए मिठाई, घी और मावे के सैंपल अब जयपुर लैब में जांच के लिए भेजे जाएंगे। जिनकी रिपोर्ट एक महीने के अंदर अंदर आ जाएगी। खाद्य सुरक्षा के नियमों की बात करें तो सैंपल फेल होने की तीन कैटेगिरी तय की गई है। इनमें मिस ब्रांड, सब स्टैंडर्ड और अनसेफ है। सूरजगढ़ में लिए गए नमूने या तो पास होंगे। या फिर फेल हुए तो सब स्टैंडर्ड और अनसेफ की कैटिगिरी में आएंगे। जिनके लिए अलग—अलग सजा और आर्थिक दंड का प्रावधान रखा गया है। सब स्टैंडर्ड की बात करें तो जो मानक तय है। उनसे कम स्टैंडर्ड मिलने पर कार्रवाई होगी। अनसेफ, में खाने के योग्य नहीं, या फिर जान को खतरा तक होने की बात शामिल है।