झुंझुनूं। हर कहीं वेलेंटाइन डे व रोज डे आदि मनाए जाते हैं, लेकिन झुंझुनूं में ऐसा नहीं है। यहां के युवाओं ने रोटी डे मनाया। इसके लिए शहर के युवाओं ने मिलकर झुग्गी बस्ती में रहने वाले जरूरतमंद परिवारों के बच्चों को एक नामचीन होटल में शाही खाना खिलाया। इन युवाओं का कहना था कि वेलेंटाइन डे व रोज डे जैसे आयोजनों में फिजूलखर्ची करने के बजाय इस बार कुछ नया करने की सोची। इसी के तहत रोटी डे मनाने का विचार किया। युवाओं का कहना था कि अकसर बड़े होटलों के बाहर झुग्गियों में रहने वाले बच्चों को खाने के लिए पैसा मांगते हुए देखा होगा। लेकिन झुंझुनूं के युवाओं ने इन्हीं बच्चों को ना केवल होटल में खाना खिलाकर नेक और अनूठा उदाहरण पेश किया है। बल्कि यह भी बताने की कोशिश की कि शिक्षा से ही हम एक अच्छी जिंदगी जी सकते है।
दरअसल झुंझुनूं के विभिन्न संगठनों से जुड़े युवाओं ने आपस में बातचीत कर फैसला लिया कि फरवरी में युवा वेलेंटाइन डे मनाते हैं। लेकिन हम मिलकर रोटी डे मनाएंगे। जिसमें ऐसे बच्चों को उनका पसंदीदा खाना खिलाएंगे। जो एक वक्त की रोटी के लिए या तो कचरा बिनते है या फिर किसी होटल के बाहर खड़े होकर पैसा मांगते है। इसी क्रम में मंगलवार को झुंझुनूं एक नामचीन होटल में करीब 50 से अधिक बच्चों को ले जाया गया। जिन्होंने पहले म्यूजिक पर जमकर मस्ती की। इसके बाद सोफे पर बैठकर अपनी पसंद का खाना खाया। जिसके बाद बच्चे काफी खुश नजर आ रहे थे।
बच्चों को गर्म कपड़े, कॉपी, पेंसिल और चप्पल भी दी

युवा सीताराम बास बुडाना तथा विकास आल्हा ने बताया कि सभी बच्चों को गर्म कपड़े, कॉपी, पेंसिल और चप्पल भी दी गई। साथ ही उनसे आह्वान किया कि वे पढाई को ही अपना लक्ष्य बनाएं और उपलब्धियां हासिल कर सभी बच्चों के लिए आदर्श बनें। इस मौके पर प्रोफेसर किशोर बरवड़ सहित सभी सदस्यों ने बच्चों को शिक्षा के लिए प्रेरित किया। इस दौरान जेईएन अमित करोल, विकास काला, महेश जसरापुर, डॉ. सुरेश शिला, इंद्राज सिंह भूरिया, अंजली गर्वा, समीर खान चनाना, सुनील मार्शल, कमलेश काला, अजय वर्मा, रतन सिंह, तनवीर, अजीज, विकास मेघवाल, उमेश, जीतू भूरिया, संदीप बोयल, सुमन चौधरी, आवाम ग्रुप झुंझुनूं एवं भीम आर्मी के सामाजिक कार्यकर्ता सहित अन्य कार्यकर्ता भी उपस्थित रहे।