झुंझुनूं। बसपा में इनदिनों उठापटक का दौर चल रहा है। गत दिनों पार्टी के जिलाध्यक्ष सुभाष मारिगसर समेत कई पदाधिकारियों को निष्कासित किया गया था। लेकिन इसके बाद मंगलवार को नए पदाधिकारियों की भी नियुक्ति की गई है। बहुजन समाज पार्टी ने मंगलवार को नई कार्यकारिणी का गठन कर आगामी लोकसभा चुनाव में पार्टी व संगठन को मजबूत बनाने के लिए झुंझुनूं जिला मुख्य प्रभारी राजेंद्र कुमार नारनोलिया को बड़ी जिम्मेदारी सौंपते हुए जोन प्रभारी नियुक्त किया।
इसके साथ ही झुंझुनूं जिले की नई कार्यकारिणी में धर्मपाल जिलोवा को जिला प्रभारी, राजेश कुमार बरवड़ को जिला प्रभारी एवं महेंद्र चारावास को जिला अध्यक्ष नियुक्त किया। बहुजन समाज पार्टी के जोन प्रभारी राजेंद्र कुमार नारनौलिया ने कहा कि आगामी लोकसभा चुनाव में राजस्थान प्रदेश को 4 जोन में बांटा है। ताकि पार्टी अपना संगठन मजबूत कर सके और आगे उन्होंने कहा कि बसपा सभी 25 सीटों पर पूरी मजबूती व दमखम के साथ लोकसभा चुनाव लड़ेगी और मायावती को देश का प्रधानमंत्री बनने के लिए रात दिन काम करेगी।
बीजेपी व कांग्रेस दोनों पार्टियों ने देश की शासन व्यवस्था को चौपट कर दिया। इस बात को आमजन को समझने की जरूरत है। देश की सत्ताधारी पार्टी बीजेपी पर हमला करते हुए नारनोलिया ने कहा कि भाजपा ने देश की जनता को धर्म व संप्रदाय की राजनीति करके गुमराह किया है एवं शिक्षा, स्वास्थ्य, गरीबी, बेरोजगारी व महंगाई जैसे मुद्दों से भटकाया है। साथ ही नारनोलिया ने कहा कि दोनों पार्टियों ने किसान मजदूर बेरोजगार युवा आदि तमाम वर्गों को सड़कों पर उतरने व आंदोलन करने के लिए मजबूर किया है।
सोशल मीडिया पर निष्कासित जिलाध्यक्ष की पीड़ा वायरल
बसपा से निष्कासित बसपा जिलाध्यक्ष सुभाषचंद्र मारिगसर का दर्द सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है। हम इस वायरल शब्दों में बयां दर्द की पुष्टि की नहीं करते। लेकिन लंबे चौड़े अपनेद दर्द में सुभाषचंद्र मारिगसर ने बताया है कि उन्हें जबरदस्ती जिलाध्यक्ष बनाया गया था। फिर भी उन्होंने पार्टी के लिए काम किया। वास्तव में कुछ बसपा के पदाधिकारियों का काम सिर्फ दलाली करना है। जिनके द्वारा चुनाव में कांग्रेस-बीजेपी से सांठ-गांठ करके टिकटें दी जाती रही हैं।
उसका 2023 का विधानसभा चुनाव परिणाम ही प्रमाण के लिए काफी है। कुछ लोगों को परिणाम से कोई मतलब नहीं है। उन्हें केवल अपने स्वार्थ से मतलब है। उनके लिए समाज और मिशन दलाली से छोटे हैं। उनके लिए दलाली सर्वोपरि है। दूसरों को धोखा देना ही वे मिशन समझते हैं। समाज जाए भाड़ में हमें तो दलाली करनी है। बस वे लोग इसी नीति पर चलते हैं। उसका परिणाम आप सबके सामने है। एक कहावत है कि जब बाड़ ही खेत को खाए तो खेत कभी नहीं बच सकता।
इन पदाधिकारियों के बारे में कई लोगों ने तभी कहा था कि इन्होंने कांशीराम के मिशन को बेच दिया है। लेकिन हमने उनकी बात को हमेशा अनसुना किया। लेकिन हमें आज पूर्ण विश्वास हो गया कि वास्तव में साहब कांशीराम के मिशन को बेच दिया गया है। जब तक ऐसे लोग पार्टी में रहेंगे तब तक बहुजन समाज पार्टी कभी आगे नहीं बढ़ सकती, बल्कि पार्टी पीछे ही जाएगी। इसलिए बहुजन समाज पार्टी को बचाने के लिए बहुजन समाज पार्टी में ईमानदार लोगों का प्रदेश की कमेटी में होना बहुत जरूरी है।