झुंझुनूं। जिला मुख्यालय स्थित सैनी मंदिर प्रांगण में राष्ट्र की प्रथम शिक्षिका सावित्रीबाई फुले की 193वीं जयंती माली सैनी समाज संस्था झुंझुनूं के तत्वावधान में समारोहपूर्वक मनाई गई। वरिष्ठ भाजपा नेता बनवारीलाल सैनी की अध्यक्षता में आयोजित कार्यक्रम में मुख्य अतिथि भाजपा जिलाध्यक्ष पवन मावंडिया थे। कांग्रेस के प्रदेश काॅर्डिनेटर मुरारी सैनी, सैनी कर्मचारी अधिकारी संघ के जिलाध्यक्ष चंद्रप्रकाश धूपिया, उदयपुरवाटी चेयरमैन रामनिवास सैनी, पीआरओ हिमांशु सिंह, नेता प्रतिपक्ष बुधराम सैनी, वरिष्ठ भाजपा नेत्री सुधा पंवार, डॉ. कमलचंद सैनी, बड़ागांव सरपंच राजेंद्र सैनी, सुलताना की पूर्व सरपंच रेखा सैनी, बड़ागांव सैनी समाज अध्यक्ष मोहनलाल सैनी, महिला सैनी समाज अध्यक्ष मनीता तंवर, एईएन घड़सीराम सैनी, समाजसेवी गोविंद सुईवाल मंचस्थ अतिथि थे।
भाजपा के पूर्व ग्रामीण मंडल अध्यक्ष इंद्राज सैनी ने अतिथि परिचय तथा स्वागत भाषण किया। संस्था अध्यक्ष महेंद्र शास्त्री, सचिव रतनलाल सैनी, नरेश सैनी, दीनदयाल सैनी, प्रधानाचार्य महेंद्र खडोलिया, परिष्कार स्कूल निदेशक लीलाधर सैनी, कैलाश खडोलिया, प्रधानाचार्य ओमप्रकाश सैनी, बाघसिंह तोमर, सुरेश सैनी, दिलीप सैनी, ओमप्रकाश कायस्थपुरा, पंचायत समिति सदस्य दिनेश कायस्थपुरा, प्रधानाचार्य श्रीराम सैनी ने अतिथियों का स्वागत किया। अतिथियों ने अपने उद्बोधन में कहा कि फुले दंपत्ति ने दलित, शोषित, पीड़ित और वंचित समाज के लिए जीवन पर्यंत संघर्ष किया। सावित्रीबाई फुले स्वयं शिक्षा ग्रहण कर शिक्षिका बनकर महिला शिक्षा के लिए दर्जनों विद्यालयों की स्थापना कर शिक्षा की अलख जगाई। फुले दंपत्ति को भारत रत्न देने, जिला मुख्यालय पर फुले दंपत्ति की प्रतिमा स्थापित करने तथा सावित्रीबाई फुले जयंती पर सार्वजनिक अवकाश की मांग रखी गई। मुख्य अतिथि पद से बोलते हुए पवन मावंडिया ने कहा कि राजनीति में स्थापित होने के लिए संयुक्त और संगठित प्रयास करने होंगे। कांग्रेस प्रदेश काॅर्डिनेटर मुरारी सैनी ने अपने उद्बोधन में कहा कि शिक्षा ही किसी समाज के विकास की मुख्य धूरी है। हमें शीघ्र जिला मुख्यालय पर छात्रावास निर्माण की परम आवश्यकता है। कार्यक्रम में वरिष्ठ अध्यापक संदीप सैनी, व्याख्याता दलिप सैनी, प्रो. हितेश सैनी, व्याख्याता घनश्याम सैनी, पुस्तकालयाध्यक्ष डीपी सैनी, कृष्ण सांखला, सूबेदार मेजर पूर्ण सिंह सैनी ने भी अपने विचार व्यक्त किए। कार्यक्रम का संचालन संस्था अध्यक्ष आचार्य महेन्द्र शास्त्री ने किया। कार्यक्रम में समाजसेवी के क्षेत्र में अभूतपूर्व कार्य करने पर वरिष्ठ भाजपा नेत्री सुधा पंवार, भाजपा नेत्री मंजू सैनी नवलगढ़, सावित्री सैनी झुंझुनूं, पूर्व छात्र संघ अध्यक्ष बबली सैनी, पूर्व सरपंच रेखा सैनी, मनीता तंवर को सावित्रीबाई फुले अवार्ड भेंटकर अभिनंदन किया गया। इस अवसर पर सीकर में 7 जनवरी को आयोजित होने वाले शेखावाटी संभाग स्तरीय सैनी प्रतिभा सम्मान समारोह के पोस्टर का विमोचन भी किया गया। कार्यक्रम में वरिष्ठ अध्यापक सुशील सैनी, समाजसेवी मूलचंद कांकरिया, रामावतार प्रकाशनगर, महात्मा ज्योतिबा फुले राष्ट्रीय संस्थान के जिलाध्यक्ष नेकीराम धूपिया, शिवराम सैनी कायस्थपुरा, मुकेश हर्ष, हंसराज सैनी, मनोज चांदोलिया, भाजपा महामंत्री दलिप सैनी, एडवोकेट बाबूलाल सैनी, सत्यनारायण हलकारा, सूर्यनारायण सैनी, सुमेर बड़ागांव, मंदिर कमेटी के पूर्व अध्यक्ष विनोद सैनी, चंद्रप्रकाश सैनी बागोरिया की ढाणी, दाताराम सैनी कांकरिया, सांवरमल सैनी मलसीसर, हरफूल सैनी बुडाना, जयसिंह अशोकनगर, राजेन्द्र सैनी अशोकनगर, संतोष सैनी, नन्दलाल ढंढार सहित बङी संख्या में समाज बन्धु उपस्थित थे।
गांधी चौक स्थित सावित्री बाई फुले वाचनालय में भी मनाई जयंती

गांधी चौक स्थित सावित्री बाई फुले वाचनालय में महिला शिक्षा की जनक सावित्री बाई फुले की 193वीं जयंती मनाई गई। जिसके मुख्य अतिथि बीएसएनएल के सेवानिवृत्त एजीएम नेकीराम धूपिया थे। अध्यक्षता जगदीश प्रसाद ने की। विशिष्ट अतिथि पूर्व प्राचार्य विजय कुमार शर्मा, सेवानिवृत्त सहायक अभियंता जलदाय विभाग घड़सीराम, इंद्राज सिंह सैनी, लक्ष्मण सैनी, एडवोकेट बजरंगलाल, लीलाधर थे। कार्यक्रम में सबसे पुराने पाठक जगदीशप्रसाद का शॉल ओढ़ाकर सम्मान किया। पुस्तकालय प्रभारी द्वारिकाप्रसाद सैनी ने सभी का स्वागत किया। मुख्य अतिथि धूपिया ने कहा कि अज्ञानता जीवन का सबसे बड़ा शत्रु है। इस शत्रु का नाश करने के लिए शिक्षा बहुत जरुरी है। विशिष्ट अतिथि पूर्व प्राचार्य शर्मा ने बताया कि शिक्षा और संस्कार दोनों एक साथ देना सावित्री बाई फुले की इनकी देन है। इन्होंने बहुत बड़ी सामाजिक बुराई को खत्म करने का बीड़ा उठाया। जिसे मिटाने के लिए देश में पहला बालिका विद्यालय खोला। इंद्राज सिंह सैनी ने भारत सरकार से ऐसी विभूति को भारत रत्न से सम्मानित करने की मांग की। कवि राजेश शर्मा ने कविता के माध्यम से बताया कि सावित्री बाई फुले जैसा फूल खिलता है करोड़ों में एक, जो बीज वसुदा को दे जाते हैं सुगंध आसमा को..। इससे पूर्व दीपिका, पूनम व किरण ने सरस्वती वंदना की। संचालन सुनीता दाधीच ने किया। राजेंद्र प्रसाद शर्मा ने सभी का आभार जताया। अजय व राजेश सोनी ने व्यवस्था देखी।